भयानक भूस्खलन: कुल्लू-शिमला रोड पूरी तरह से बंद, देखें चौंकाने वाला वीडियो
शिमला/कुल्लू, [आज की तारीख]: हिमाचल प्रदेश के कुल्लू-शिमला राष्ट्रीय राजमार्ग पर हाल ही में हुए एक भीषण भूस्खलन ने पूरे क्षेत्र को हिला दिया है। इस भयानक घटना के कारण सड़क पूरी तरह से अवरुद्ध हो गई है, जिससे यातायात ठप पड़ गया है। घटना का एक दिल दहला देने वाला वीडियो भी सामने आया है, जिसने लोगों को स्तब्ध कर दिया है। यह भूस्खलन ऐसे समय में हुआ है जब पहाड़ी राज्यों में भारी बारिश और प्राकृतिक आपदाओं का खतरा लगातार बना हुआ है।
कुल्लू-शिमला मार्ग पर भूस्खलन से हाहाकार
जानकारी के अनुसार, यह भूस्खलन कुल्लू-शिमला रोड के [यदि स्थान ज्ञात हो तो यहाँ जोड़ें, जैसे ‘बजौरा के पास’] इलाके में हुआ। अचानक पहाड़ का एक बड़ा हिस्सा टूटकर सड़क पर आ गिरा, जिससे पूरा मार्ग मलबे और पत्थरों से ढक गया। गनीमत यह रही कि घटना के वक्त वहां से कोई वाहन नहीं गुजर रहा था, अन्यथा बड़ी जनहानि हो सकती थी। हालांकि, इस भूस्खलन ने यात्रियों और स्थानीय लोगों के लिए गंभीर समस्याएँ खड़ी कर दी हैं।
वायरल वीडियो ने बढ़ाई चिंता
इस विनाशकारी भूस्खलन का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि कैसे भारी-भरकम पत्थर और मिट्टी का सैलाब पहाड़ से नीचे आ रहा है, जिससे सड़क पल भर में मलबे के ढेर में बदल गई। इस चौंकाने वाले दृश्य ने लोगों को प्राकृतिक आपदाओं के प्रति और अधिक सतर्क रहने की याद दिलाई है। वीडियो देखने वाले लोग इसकी भयावहता पर अपनी चिंता व्यक्त कर रहे हैं और सरकार से ऐसे संवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षा उपायों को मजबूत करने की मांग कर रहे हैं।
यातायात ठप, प्रशासन सक्रिय
यातायात ठप, प्रशासन सक्रियभूस्खलन के कारण कुल्लू-शिमला मार्ग के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गई हैं। यात्रियों को घंटों तक इंतजार करना पड़ रहा है, जबकि कई लोगों ने वैकल्पिक मार्गों का सहारा लिया है। स्थानीय प्रशासन और आपदा प्रबंधन टीमें तुरंत हरकत में आ गई हैं। जेसीबी और अन्य भारी मशीनों की मदद से सड़क से मलबा हटाने का काम युद्धस्तर पर जारी है। अधिकारियों का कहना है कि सड़क को फिर से खोलने में कुछ समय लग सकता है, क्योंकि मलबे की मात्रा बहुत अधिक है। यात्रियों से अपील की गई है कि वे यात्रा करने से पहले सड़क की स्थिति के बारे में जानकारी प्राप्त कर लें।
यह घटना एक बार फिर पहाड़ी क्षेत्रों में बढ़ती भूस्खलन की समस्या को उजागर करती है। जलवायु परिवर्तन और अनियोजित निर्माण भी ऐसी घटनाओं में योगदान दे रहे हैं। सरकार और नागरिकों दोनों को इस दिशा में गंभीरता से विचार करने की आवश्यकता है।
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✍️ Keshav Kumar Mishra
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